आचार्य प्रमोद कृष्णम् को कांग्रेस पार्टी ने 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया है। कृष्णम् ने रविवार को संभल में प्रेस कॉन्फ्रेंस करके कांग्रेस पर हमला बोला। उन्होंने कहा, “मुझे कल रात जानकारी मिली की कांग्रेस पार्टी ने एक चिट्ठी जारी की है। जिसमें कहा है कि पार्टी विरोधी एक्टिविटी के कारण मुझे 6 साल के लिए निष्कासित दिया। सबसे पहले मैं कांग्रेस नेतृत्व का आभार व्यक्त करता हूं कि मुझे कांग्रेस से मुक्ति देने का फरमान जारी किया।”
उन्होंने आगे पूछा कि केसी वेणुगोपाल या मल्लिकार्जुन खड़गे ये बताएं कि ऐसी कौन सी गतिविधियां हैं, जो पार्टी के विरोध में थीं। क्या राम मंदिर प्राण-प्रतिष्ठा का निमंत्रण स्वीकारना, वहां जाना, श्रीकल्कि धाम का शिलान्यास कराना, नरेंद्र मोदी से मिलना, सनातन की बात करना पार्टी विरोधी है? इससे पहल सुबह उन्होंने X पर राहुल को टैग करके लिखा था- राम और राष्ट्र पर समझौता नहीं किया जा सकता है।
उन्होंने कहा, “सवाल मेरे निष्कासन का नहीं। सवाल ये है कि जो महात्मा गांधी, सुभाष चंद्र बोस, पंडित जवाहरलाल नेहरू, मौलाना आजाद और इंदिरा गांधी की कांग्रेस थी, आज उस कांग्रेस को किस रास्ते पर लाकर खड़ा किया गया है। क्या कांग्रेस में रहने का मतलब है कि हमें चमचागिरी करनी जरूरी है, झूठ बोलना जरूरी है।”